TATHAGAT
Friday, 5 March 2021
पंक्ति पावन:
पंकिलमकरोज्जम्बुं न: जातिपंक्तिपावन:।
स्वातन्त्र्यं जाति देशात्यौवनमिव यौवने।।
लिखितं बालभालेsत्र जातिचिह्नं प्रकृत्या न।
जातीयातंकवाद्या नित् द्वेषमस्पृश्यताया: नु।।
No comments:
Post a Comment
Newer Post
Older Post
Home
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment